केडी हास्पीटलः बिना चीरा के निकाला दांतों, बालों और हड्डियों से बना एक ‘डर्माेइड’

  • मल्टी स्पेशियेलिटी केडी हास्पीटल में एक महिला के पेट से बिना चीरा लगाए दूरबीन विधि से पेट के निचले हिस्से में मौजूद दांतों, बालों और हड्डियों से बना एक डर्माेइड निकाला
  • महिला को रुक-रुक कर पेट में होता था दर्द, जांच हाथरस और अलीगढ में हो जाने के बावजूद इसे निकालने में कई चिकित्सालयों ने जता दी थी निकालने में असमर्थता
  • मल्टी स्पेशियलिटी केडी हास्पीटल की डा. प्रियंका माहेश्वरी ने बिना चीरा के दूरबीन विधि से डर्माेइड को निकाल कर मरीज लता को दी दर्द से बडी राहत

मथुरा। मल्टी स्पेशियेलिटी केडी हास्पीटल में एक महिला के पेट से बिना चीरा लगाए दूरबीन विधि से पेट के निचले हिस्से में मौजूद दांतों, बालों और हड्डियों से बना एक डर्माेइड निकाला है। इसी डर्माेइड की वजह से महिला को रुक-रुक कर दर्द होता था। पेट में डर्माेइड होने की जांच हाथरस और अलीगढ हो जाने के बावजूद इसे निकालने में असमर्थता जता दी थी। केडी हास्पीटल के बारे में बाजना निवासी पवन भारती से मिलने पर वे यहां आए। अब मरीज को दर्द से छुटकारा मिल चुका है। वह आराम से डिस्चार्ज होने के बाद अब अपने परिवार के साथ रह रही है।
अलीगढ जिले के गोंडा के पास पचावरी गांव निवासी नरेश कुमार ने बताया कि उसकी पत्नी लता भारती को पेट के निचले हिस्से में दर्द होने की शिकायत रहती थी। इस पर उसने हाथरस के एक क्लीनिक में अल्ट्रासाउंड कराया। अलीगढ में सीटी स्कैन भी कराया। जब ये रिपोर्ट चिकित्सक को दिखाईं तो उन्होंने पेट में बाल, दांत और हड्डियों वाली एक गांठ यानि कि डर्माेइड होने की पुष्टि कर दी। नरेश ने आपरेशन करने को कहा तो उन्होंने किसी बडे हास्पीटल में जाकर कराने की सलाह दी। वह रिश्तेदार पवन भारती की सलाह पर केडी हास्पीटल की ओपीडी में पहुंचा। रिपोर्टोें को देखकर चिकित्सकों ने आॅपरेशन कराने की सलाह दी। जो नरेश ने बीते माह केडी हास्पीटल में ही करा लिया। आॅपरेशन के दौरान ओटी में गायनी विभाग की एचओडी और प्रोफेसर डा. हसना हना चैधरी के साथ डा. प्रियंका माहेश्वरी, डा, मेघा सोलंकी, एनेस्थिएस्ट डा. शमीम, डा. शाह नवाज सहायक विनीश और प्रदीप ने सहयोग किया।

दूरबीन विधि से निकलवाएं बच्चेदानी और अंडेदानी भी:डा. हसना हना चैधरी
मथुरा। मल्टी स्पेशियेलिटी केडी हास्पीटल की चिकित्सक डा. हसना हना चैधरी ने बताया कि इस डर्माेइड को निकालने के लिए कई इंच चैडा चीरा लगाने की जरुरत होती, मगर हम अपनी टीम के साथ मात्र तीन छोटे-छोटे चीरों से दूरबीन विधि से डर्माेइड को आसानी से निकाल दिया। उन्होंनेे बताया कि केडी हास्पीटल में दूरबीन विधि से ही परेशान महिला मरीजों की बच्चेदानी और अंडेदानी को निकाला जा सकता है। वे ऐसे कई केस बिना बडे चीरा के ही सफलता पूर्वक अंजाम दे चुकी हैं। इससे महिलाओं को ऐसे मामलों में परेशान और घबराने की जरुरत नहीं है। वे केडी हास्पीटल में आकर उनसे परामर्श ले सकती हैं।

कैम्पस में ‘आॅनकाल‘ विशेषज्ञ चिकित्सक उपलब्धः डा. राम किशोर अग्रवाल
मथुरा। आरके एजुकेशनल हब के चैयरमेन डा. राम किशोर अग्रवाल, वाइस चैयरमेन पंकज अग्रवाल और एमडी मनोज अग्रवाल ने कहा कि केडी हास्पीटल में मल्टी स्पेशियेलिटी की सुविधाएं उपलब्ध हैं। हास्पीटल में हर प्रकार के रोगों के चिकित्सक उपलब्ध हैं। विशेषज्ञ चिकित्सक ‘आॅनकाल‘ मेडीकल कालेज में भी उपलब्ध हैं। इससे एक ही कैम्पस और छत के नीचे सभी विशेषज्ञों की सुविधा और विश्व स्तरीय आॅपरेशन थियेटर उपलब्ध हैं। सभी ब्रजवासी और आस-पास के राज्यों के मरीज इन सुविधाओं का लाभ उठाएं। इससे आरके एजुकेशनल हब के उद्देश्य की पूर्ति हो सके।
फोटो परिचय- केडी हास्पीटल में मरीज लता भारती का आॅपरेशन करती डा. हसनाहना चैधरी, डा. प्रियंका माहेश्वरी के साथ टीम।

Be the first to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published.


*