चन्द्रमा की धवल चांदनी गिरिराज जी ने खीर चख सुंदरता की आभा बिखेरी

गोवर्धन। शरद पूर्णिमा की धवल चांदनी में श्वेत पोशाक के बीच फूलों की पीतांबरी से ढके गिरिराज प्रभु के अनूठे दर्शन कर भक्त भावविभोर हो गए। गिरिराज जी को केशर युक्त खीर का भोग लगाया गया। गिरिराज जी खीर चख सुंदरता की आभा में भक्तों को अपनी ओर आकर्षित कर रहे थे। ऐसा श्रृंगार मानो स्वयं प्रभु अवतरित होकर दर्शन दे रहे हों।

शरद का चंद्रमा आज उन अनाथ दिव्यांगों की मुस्कराहट का साक्षी बना, जिनका अपनों ने भी साथ छोड़ दिया। बेसहारा सड़कों पर घूमते इन लोगों का सहारा बना अपना घर इनकी सेवा में जुटा है तो दानघाटी गिरिराजजी ने अपनी प्रसादी खीर इन दिव्यांगों के लिए भी भेजी गई। इस अवसर पर सेवाधिकारी मथुरा दास कौशिक, लाला पंडित, सेवायत पवन कौशिक, कन्हैया शर्मा तथा धीरज कौशिक आदि थे।

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