अतंरिक्ष में बिना हाथ-पैर वाला ‘जादू’ करेगा कमाल, अंतरिक्ष यात्रियों को मिलेगा पहला रोबॉट क्रू

मुंबई। अंतरिक्ष यात्रियों की मदद के लिए पहली बार किसी रोबॉट को इंटरनैशनल स्पेस स्टेशन यानी ISS पर भेजा गया है। शुक्रवार सुबह इसे ड्रैगन कैप्सूल में रखकर स्पेस एक्स फाल्कन रॉकेट से भेजा गया। अंग्रेजी में बात करने वाला यह रोबॉट बास्केटबॉल के आकार का है, जो जर्मन अंतरिक्ष यात्री अलेक्जेंडर जर्स्ट को ISS पर प्रयोगों में सहयोग करेगा।
गैरतलब है कि पांच किलो वजन वाले इस रोबॉट के कोई हाथ या पैर नहीं हैं और यह एक आयताकार स्क्रीन की तरह है। स्क्रीन पर एक साधारण कार्टून फेस दिखाई देता है। इसे एयरबस और IBM ने मिलकर विकसित किया है। यह अंतरिक्ष यात्रियों को उनके रोजाना के कार्यों को पूरा करने में रिपेयर इंस्ट्रक्शंस जैसी जानकारियों की प्रक्रिया को समझाएगा। यह वॉइस कमांड का अंग्रेजी में जवाब भी दे सकता है।
दिलचस्प बात यह है कि CIMON की परिकल्पना 1940 के दशक की साइंस फिक्शन कॉमिक सीरीज से प्रेरित है, जिसमें ब्रेन के आकार का रोबॉट प्रफेसर सीमॉन एक अंतरिक्ष यात्री कैप्टन फ्यूचर को मदद करता है।

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